वित्त मंत्री ने बजट में विभिन्न क्षेत्रों के विकास का ब्यौरा पेश किया
देखें, बजट के प्रमुख बिंदु
देहरादून। वित्त मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने गुरुवार को दोपहर 12.30 बजे सदन में बजट पेश किया।
वर्ष 2025-26 के लिए एक लाख करोड़ रुपये से अधिक का आय व्यय का लेखा जोखा पेश किया गया। 44 पेज के बजट में विभिन्न सेक्टर के लिए धनराशि की व्यवस्था की गई है।

धामी सरकार के बजट के प्रमुख बिंदु
Budget Highlights 2025-26
- For the first time in the Uttarakhand State, a budget of more than Rs. 1 lakh crore is being presented.
- Under the scheme of infrastructure development and construction, a provision of Rs. 14763.13 crore is being made in the capital expenditure, which is the highest till date.
- For rural employment in Fishery department Trout promotion is being done with the provision of 146 crore.
- For Haridwar and Rishikesh Development a budget of 168.33 crore is being provided under UIIDB scheme.
- Startup Venture Fund – Rs.20 crore
- Pravasi Uttarakhand Parishad- Rs.1 crore
- River Front Development Scheme (Sharda Corridor) – Rs.10 crore
- For running electric buses under Smart City Scheme-6.5 crore.
- Home guards welfare fund-1 crore.
- Silk Federation Revolving Fund-5 crore.
- For the implementation of the Uniform Civil Code- Rs. 30 crore.
- For the Spring and River Rejuvenation, Rs. 125 crore.
- For the payment of electricity bill in Drinking Water and Irrigation department- Rs. 490 crore.
- For the promotion of informers related to the narcotics in the Police Department – Rs. 10 lakh.
- Bhartiya Nyay Sanhita implementation-20 crore crore
- For Climate Mitigation – 60 crore
- उत्तराखंड राज्य में प्रथम बार एक लाख करोड़ रुपये से अधिक का आय व्ययक प्रस्तुत किया जा रहा है।
- अवस्थापना निर्माण के अंतर्गत पूंजीगत परिव्यय में ₹14763.13 करोड़ का प्रविधान किया जा रहा है। जो अब तक सर्वाधिक है।
- ग्रामीण रोजगार हेतु मत्स्य विभाग की ट्राउट प्रोत्साहन योजना-₹146 करोड़
- यूआईआईडीबी को हरिद्वार ऋषिकेश विकास हेतु परामर्शी सेवा हेतु-₹168.33 करोड़
- स्टार्टअप वेंचर फंड-₹20 करोड़
- प्रवासी उत्तराखंड परिषद-₹1 करोड़
- रिवर फ्रंट डेव्लपमेंट परियोजना (शारदा कॉरिडॉर)-₹10 करोड़
- स्मार्ट सिटि के अंतर्गत इलैक्ट्रिक बसो के संचालन हेतु-₹6.5 करोड़
- होमेगार्ड कल्याण कोष रिवोलविंग फंड-₹1 करोड़
- रेशम फैडरेशन को रिवोलविंगफंड-₹5 करोड़
- समान नागरिक संहिता के क्रियान्वयन हेतु-₹30 करोड़
- स्प्रिंग एण्ड रिवर रिजुविनेशन हेतु-₹125 करोड़
- पेयजल तथा सिंचाई विभाग की योजनाओं के बिजली के भुगतान हेतु-
₹10 लाख
- भारतीय न्याय संहिता हेतु-₹20 करोड़
- जलवायु परिवर्तन शमन हेतु-₹60 करोड़
मुख्यमंत्री शेवनिंग उच्च शिक्षा छात्रवृत्ति हेतु: ₹2.00 करोड़
- एन०डी०ए० तथा आई०एम०ए० में चयनित छात्र/छात्राओं को पुरूस्कार हेतुः ₹1.25 करोड़
- उद्यमिता, कौशल एवं नवाचार को बढ़ावा दिये जाने हेतुः ₹7.11 करोड़
- टाटा टैक्नोलॉजी मॉडल के अनुसार आईटीआई का उन्नयन हेतु राजस्व मद हेतुः ₹45.00 करोड़ तथा पूंजीगत मद हेतुः ₹18.00 करोड़
- उदीयमान खिलाडियों को छात्रवृति हेतुः ₹10.00 करोड़
खेल महाकुम्भ के आयोजन हेतुः ₹15.00 करोड़
- राज्य और राष्ट्रीय युवा महोत्सवः ₹5.00 करोड़
- मुख्यमंत्री युवा मंगल दल स्वावलम्भन योजना हेतुः ₹5.00 करोड़
- मुख्यमंत्री ग्रामीण खेलकूद एवं स्वास्थ्य संवर्धन योजना हेतुः ₹2.50 करोड़
- रूरल बिजनेस इनक्यूबेटर (RBI) हेतुः ₹20.00 करोड़
मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना हेतुः ₹60.00 करोड़
मुख्यमंत्री पलायन रोकथाम योजना हेतु: ₹10.00 करोड़
- प० दीनदयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल योजना हेतुः ₹21.60 करोड़
उत्तराखण्ड के निर्माण के लिए वित्तीय वर्ष 2025-26 के बजट अनुमान
वित्तीय वर्ष 2025-26 में कुल प्राप्तियाँ लगभग रू० एक लाख एक हजार चौंतीस करोड़ पचहत्तर लाख (रू0 1,01,034.75 करोड़) अनुमानित है, जिसमें रू० बासठ हजार पाँच सौ चालीस करोड़ चौव्वन लाख (रू0 62,540.54 करोड़) राजस्व प्राप्तियाँ तथा रू० अड़तीस हजार चार सौ चौरानवे करोड़ इक्कीस लाख (रू0 38,494.21 करोड़) पूंजीगत प्राप्तियाँ हैं।
वित्तीय वर्ष 2025-26 में राजस्व प्राप्तियों में कर राजस्व रू० उन्तालीस हजार नौ सौ सतरह करोड़ चौहत्तर लाख (रू0 39,917.74 करोड़) है, जिसमें केन्द्रीय करों में राज्यांश रू० पन्द्रह हजार नौ सौ दो करोड़ बयानवे लाख (रू0 15,902.92 करोड़) सम्मिलित है।
राज्य के स्वयं के स्रोतों से कुल अनुमानित राजस्व प्राप्ति रू० अठाईस हजार चार सौ दस करोड़ तीस लाख (रू0 28,410.30 करोड़) में कर राजस्व रू० चौबीस हजार चौदह करोड़ बयासी लाख (रू0 24,014.82 करोड़) तथा करेत्तर राजस्व रू० चार हजार तीन सौ पंचानवे करोड़ अड़तालीस लाख (रू0 4395.48 करोड़) अनुमानित है।
वर्ष 2025-26 में ऋणों के प्रतिदान (W.M.A. / अर्थोपाय अग्रिम सहित) पर रू० छब्बीस हजार पाँच करोड़ छियासठ लाख (रू0 26,005.66 करोड़), ब्याज की अदायगी के रूप में रू० छः हजार नौ सौ नब्बे करोड़ चौदह लाख (रू0 6,990.14 करोड़), राज्य कर्मचारियों के वेतन-भत्तों आदि पर लगभग रू० अठारह हजार एक सौ सत्तानवे करोड़ दस लाख (रू0 18,197.10 करोड़), सहायता प्राप्त शिक्षण व अन्य संस्थाओं एवं कर्मचारियों के वेतन भत्तों के रूप में लगभग रू० एक हजार चार सौ सैंतालीस करोड़ छब्बीस लाख (रू0 1,447.26 करोड़), पेंशन एवं अन्य सेवानिवृत्तिक लाभों के रूप में रू० नौ हजार नौ सौ सतरह करोड़ चालीस लाख (रू0 9,917.40 करोड़), व्यय अनुमानित है।
वर्ष 2025-26 में कुल व्यय रू० एक लाख एक हजार एक सौ पचहत्तर करोड़ तैंतीस लाख (रू0 1,01,175.33 करोड़) अनुमानित है। कुल अनुमानित व्यय में से रू० उनसठ हजार नौ सौ चौव्वन करोड़ पैंसठ लाख (रू0 59,954.65 करोड़) राजस्व लेखे का व्यय है तथा रू० इकतालीस हजार दो सौ बीस करोड़ अड़सठ लाख (रू0 41,220.68 करोड़) पूंजी लेखे का व्यय है।
समेकित निधि
वर्ष 2025-26 के बजट में कोई राजस्व घाटा अनुमानित नहीं है, अपितु रू० दो हजार पाँच सौ पिचासी करोड़ नवासी लाख (रू0 2,585.89 करोड़) का राजस्व अधिशेष (सरप्लस) सम्भावित है। रू० बारह हजार छः सौ चार करोड़ बयानवे लाख (रू0 12,604.92 करोड़) का राजकोषीय घाटा होने का अनुमान है, जो कि सकल राज्य घरेलू उत्पाद का 2.94 प्रतिशत है। यह एफ०आर०बी०एम० एक्ट में निर्दिष्ट सीमा के अन्तर्गत है।
वर्ष 2025-26 के अनुमानित प्रारम्भिक शेष रू० सत्तर करोड़ छियालीस लाख (रू0 70.46 करोड़) धनात्मक तथा वर्ष का अन्तिम शेष रू० एक सौ उन्यासी करोड़ अठ्ठासी लाख (रू0 179.88 करोड़) धनात्मक रहना अनुमानित है।