पहले दिन संयुक्त संसदीय समिति ने दलों के प्रतिनिधियों से लिए सुझाव
दो दिन के अध्ययन दौरे पर उत्तराखंड में है संयुक्त समिति
बृहस्पतिवार को भी विभिन्न संगठनों से मिलकर करेगी चर्चा
देहरादून। देश में लोकसभा और राज्य विधानसभा चुनावों को एक साथ आयोजित करने की दिशा में भारत सरकार द्वारा गठित संयुक्त संसदीय समिति इन दिनों उत्तराखंड के दो दिवसीय अध्ययन दौरे पर है। इस क्रम में समिति ने बुधवार को अपने पहले दिन की गतिविधियों में विभिन्न राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों, सार्वजनिक उपक्रमों के अधिकारियों और उत्तराखंड विधानसभा अध्यक्ष से मुलाकात कर उनके विचार और सुझाव आमंत्रित किए।
समिति का यह दौरा भारत सरकार द्वारा प्रस्तावित संविधान (129वां संशोधन) विधेयक 2024 और केंद्र शासित प्रदेश कानून (संशोधन) विधेयक 2024 के परिप्रेक्ष्य में किया जा रहा है, जिसका उद्देश्य पूरे देश में एक साथ चुनाव की संभावना का परीक्षण करना है।
बुधवार को अध्ययन दौरे की शुरुआत समिति के अध्यक्ष पीपी चौधरी और अन्य सदस्यों द्वारा उत्तराखंड विधानसभा अध्यक्ष श्रीमती ऋतु खंडूरी भूषण से भेंटवार्ता से हुई। इस बैठक में देश में एक साथ चुनाव कराए जाने की व्यवहारिकता, संवैधानिक दृष्टिकोण, प्रशासनिक तैयारियां, और संभावित लाभ-हानि जैसे विषयों पर विस्तार से चर्चा की गई। विधानसभा अध्यक्ष ने समिति को इस दिशा में अनेक महत्वपूर्ण सुझाव प्रदान किए, जिनका समिति द्वारा गहराई से अध्ययन किया जाएगा।
इसके उपरांत, समिति ने एनटीपीसी, एनएचपीसी, टीएचडीसी तथा आरईसी जैसे प्रमुख सार्वजनिक उपक्रमों के प्रतिनिधियों से भी भेंट की। इन बैठकों में समिति ने एक साथ चुनाव के प्रभाव, व्यावसायिक वातावरण पर उसके पड़ने वाले प्रभावों, कर्मचारियों की भूमिका, और संसाधनों के समुचित उपयोग जैसे बिंदुओं पर प्रतिनिधियों की राय ली। इन उपक्रमों के प्रतिनिधियों ने इस मुद्दे पर अपने अनुभव साझा किए और सुझाव प्रस्तुत किए, जो समिति की अंतिम रिपोर्ट के लिए उपयोगी सिद्ध हो सकते हैं।
संयुक्त समिति का यह अध्ययन दौरा दो दिन तक चलेगा। गुरुवार को दौरे के दूसरे और अंतिम दिन समिति का कार्यक्रम भी काफी व्यस्त और विविधतापूर्ण रहेगा। सुबह के सत्र में समिति राज्य सरकार के शीर्ष अधिकारियों के साथ बैठक करेगी, जिसमें मुख्य सचिव, गृह विभाग, वित्त विभाग, विधि विभाग, शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिवों सहित पुलिस महानिदेशक उपस्थित रहेंगे। इस बैठक में प्रशासनिक दृष्टिकोण से एक साथ चुनावों की तैयारियों, संसाधनों की आवश्यकता, प्रशिक्षण एवं प्रबंधन की रूपरेखा पर चर्चा की जाएगी।
दोपहर के सत्र में समिति बॉर कौंसिल के पदाधिकारियों, वरिष्ठ अधिवक्ताओं तथा आईआईटी रूड़की के प्रतिनिधियों से भी संवाद करेगी। इन विशेषज्ञों से समिति विधिक दृष्टिकोण, संवैधानिक संशोधन की तकनीकी जटिलताएं, और शिक्षाविदों से नीति संबंधी सुझाव एकत्र करेगी। इसके साथ ही, स्थानीय स्तर की प्रमुख सामाजिक, शैक्षिक और प्रशासनिक हस्तियों के साथ भी संवाद सत्र आयोजित किया जाएगा, जिसमें आमजन की भावनाओं, जमीनी अनुभवों और संभावित अड़चनों को समझने का प्रयास किया जाएगा।
समिति का एक घंटा योग के नाम
संयुक्त संसदीय समिति के इस दो दिवसीय गहन अध्ययन दौरे में दिन की शुरुआत स्वास्थ्य और मानसिक स्फूर्ति को ध्यान में रखते हुए की जा रही है। प्रतिदिन सुबह साढ़े छह बजे से साढ़े सात बजे तक समिति के सदस्यों के लिए एक घंटे का योग सत्र निर्धारित किया गया है। यह योग सत्र शारीरिक और मानसिक ताजगी के साथ दिन भर की महत्वपूर्ण बैठकों और चर्चाओं के लिए ऊर्जा प्रदान करता है।
इस प्रकार, समिति का उत्तराखंड दौरा बहुआयामी संवाद, गहन मंथन और विविध दृष्टिकोणों के संग्रह का एक सशक्त उदाहरण बन रहा है, जो भारत में एक साथ चुनाव के संभावित ढांचे को ठोस आधार प्रदान करेगा।